Sunday, March 26, 2023
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जेम्स टॉड की बंदूक पुलिस लाइन से गायब:इंग्लैंड से आया डेलिगेशन, बोले- बनेड़ा राजपरिवार को गिफ्ट में दी थी; इतिहास से पन्ने को फाड़ा

भीलवाड़ा21 मिनट पहले

कर्नल जेम्स टॉड की किताब एनल्स ऑफ एंटीक्विटी को 200 साल पूरे होने पर इंग्लैंड के रॉयल एशियन सोसायटी में एक बड़ा आयोजन होने वाला है। इस आयोजन में उन सभी रियासतों के पूर्व राजपरिवार को बुलाया गया है, जिनका जिक्र इस किताब में किया गया है। भीलवाड़ा के पूर्व बनेड़ा राजपरिवार को भी प्रोग्राम में बुलाया गया है। मगर अफसोस है कि प्रोग्राम में बनेड़ा के उस इतिहास का नाम नहीं लिया जा सकेगा। जिसका जिक्र कर्नल जेम्स ने इस किताब में किया था।

इंग्लैंड से रॉयल एशियन सोसायटी के 12 लोगों का डेलिगेशन गुरुवार को बनेड़ा महल पहुंचा। पूर्व बनेड़ा राज परिवार के सदस्य गोपाल सिंह ने उन्हें अपने महल और वंश के इतिहास के बारे में बताया। उन्होंने डेलिगेशन को बताया कि कर्नल जेम्स टॉड ने पूर्व महाराज भीम सिंह को गिफ्ट में जो दो चांदी की पिस्टल दी थी। वह पुलिस लाइन के मालखाने से गायब हो गई है। इस बात को सुनकर सभी निराश हो गया। डेलिगेशन उन दोनों पिस्टल को देखने और इंग्लैंड में होने वाले कार्यक्रम में उसका जिक्र करने वाला था।

इस बारे में जानकारी मिलने के बाद डेलिगेशन में आए डायरेक्टरों ने कहा- ‘ बनेड़ा राज परिवार को कर्नल जेम्स टॉड ने उपहार में चांदी की दो बंदूक दी थी। उनकी कीमत लगाना असंभव है। यह सिर्फ बंदूक चोरी नहीं हुई बल्कि एनल्स ऑफ एंटीक्विटी में लिखे गए राजस्थान के इतिहास से बनेड़ा राजपरिवार के पन्ने को फाड़ा गया है।’

बनेड़ा के पूर्व महाराजा भीमसिंह व कर्नल टॉड के बीच की दोस्ती के इतिहास को जानने इंग्लैंड से 12 सदस्यों का डेलिगेशन बनेड़ा महल में बैठा हुआ।

इंग्लैंड में होगा बड़ा प्रोग्राम
डायरेक्टर एलीसीन ओटर ने कहा कि कर्नल जेम्स टॉड ने अपने जीवन भर का जो अनुभव था, उसे अपनी किताब में लिखा था। राजस्थान के रियासतों का इतिहास भी उसमें था। राजपूत राजाओं के शौर्य की कहानियां, उनकी तलवारों और उनकी चीजों को देखकर ही याद किया जाता है। वैसे ही पूर्व महाराजा भीम सिंह और कर्नल जेम्स टॉड की दोस्ती की मिसाल दोनों पिस्टल थी। वह गायब होना काफी चिंताजनक है।

बंदूकों की कीमत लगाना असंभव है। सिर्फ बंदूक चोरी नहीं हुई बल्कि एनल्स ऑफ एंटीक्विटी में लिखे गए राजस्थान के इतिहास से पूर्व बनेड़ा राजपरिवार के पन्ने को फाड़ा गया है। यह क्षतिपूर्ति कभी पूरी नहीं हो पाएगी। सभी डायरेक्टर कर्नल जेम्स टॉड की ओर से लिखी किताब के इतिहास पर एक बड़ा कार्यक्रम इंग्लैंड में करने वाले हैं। इससे पहले वे उन सभी रियासतों में जा रहे हैं, जहां कर्नल जेम्स टॉड गए थे और अपनी किताब में उसका जिक्र किया था।

पूर्व बनेड़ा राज परिवार के सदस्य गोपाल सिंह ने उन्हें अपने महल और वंश के इतिहास के बारे में बताया।

पूर्व बनेड़ा राज परिवार के सदस्य गोपाल सिंह ने उन्हें अपने महल और वंश के इतिहास के बारे में बताया।

उदयपुर पॉलिटिकल एजेंट बनकर आए थे टॉड
कर्नल जेम्स टॉड ब्रिटिश ईस्ट इंडिया कंपनी के एक अधिकारी और भारतविद् थे। वह इंग्लैंड के रहने वाले थे। साल 1817-18 में पश्चिमी राजपूत राज्यों के पॉलिटिकल एजेंट बनकर उदयपुर आए थे। 5 साल तक अलग-अलग रियासतों का इतिहास और सामंथी प्रथा की जानकारी ली थी।

महाराज भीमसिंह को दिए थे गिफ्ट
कर्नल ने राजस्थान में रहते हुए 1820 में बनेड़ा के पूर्व राजा भीम सिंह से भी मुलाकात की थी। महाराज भीम सिंह उनका स्वागत करने के लिए दो मील तक गए थे। कर्नल और महाराजा के बीच दोस्ती हो गई थी। महाराजा भीम सिंह कर्नल को छोड़ने के लिए उनके टेंट पर भी गए थे। तब कर्नल टॉड ने उन्हें दो चांदी की पिस्टल और एक टेलिस्कोप गिफ्ट किया था।

ये भीलवाड़ा का बनेड़ा महल है। कर्नल ने राजस्थान में रहते हुए 1820 में बनेड़ा के पूर्व राजा भीम सिंह से इसी महल में मुलाकात की थी।

ये भीलवाड़ा का बनेड़ा महल है। कर्नल ने राजस्थान में रहते हुए 1820 में बनेड़ा के पूर्व राजा भीम सिंह से इसी महल में मुलाकात की थी।

पुलिस मालखाने से गायब हुई थी पिस्टल
गौरतलब है कि दिसंबर माह में पुलिस लाइन के मालखाने से 300 से ज्यादा हथियार और उनके पार्ट गायब होने का खुलासा हुआ था। इस मालखाने में भीलवाड़ा के बदनौर, बनेड़ा, हमीरगढ़, करेड़ा, नांदशा, बिजौलिया, मांडलगढ़ जैसे ठिकानों ने भी अपने अमानती और ऐतिहासिक हथियारों को जमा करवा रखा था। जिनमें से काफी हैरिटेज हथियार भी गायब थे। इन हथियारों में पूर्व बनेड़ा राज परिवार की ओर से जमा करवाई गई दो चांदी की पिस्टल व अन्य बंदूकों के बैरल भी थे।

यह लोग थे डेलिगेशन में शामिल
बनेड़ा महल में आए डेलिगेशन में रॉयल एशियन सोसायटी की डायरेक्टर एलीसीन ओटर, ऐलिजिबियन, बेजिग एसोसियेटिक सोसायटी के पूर्व अध्यक्ष एनल बेग्मिटन, ब्रिटिश लाइब्रेरी के सदस्य एनेबल गेल्प सहित 12 सदस्य शामिल थे।

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हथियारों की ये फोटो प्रतीकात्मक है। आवभगत से खुश होकर ईस्ट इंडिया के कर्नल जेम्स टॉड ने बनेड़ा के महाराजा भीम सिंह को चांदी की पिस्टल उपहार में दी थी। कर्नल टॉड 1817-18 में उदयपुर आए थे।

हथियारों की ये फोटो प्रतीकात्मक है। आवभगत से खुश होकर ईस्ट इंडिया के कर्नल जेम्स टॉड ने बनेड़ा के महाराजा भीम सिंह को चांदी की पिस्टल उपहार में दी थी। कर्नल टॉड 1817-18 में उदयपुर आए थे।

राजस्थान में कई राजघरानों के करोड़ों रुपए के सैकड़ों बेशकीमती हथियार चोरी हो गए हैं। इन राजघरानों ने चांदी व अन्य कीमती मेटल से बने अपने हथियार करीब 50 साल पहले पुलिस मालखाने में जमा कराए थे। देश आजाद होने के बाद रियासतों के विलय और आर्म्स एक्ट लागू होने पर ऐसा करना जरूरी था।

बदमाश भी इतने शातिर थे कि असली एंटीक हथियारों की जगह कई नकली हथियार रखकर चले गए। चोरी गए हथियारों में चांदी की 200 साल पुरानी पिस्टल, टोपीदार व सोने-हाथी दांत से नक्काशी वाली बंदूकें और राइफल शामिल हैं। (पूरी खबर पढ़ें…)

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