घर पर भीड़
– फोटो : अमर उजाला
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आगरा के बाह स्थित जैतपुर सीएचसी में मृत घोषित नवजात की शुक्रवार की सुबह यमुना में पानी के प्रभाव से नींद खुल गई। परिजनों के मुताबिक नवजात ने सांस ली, आंखें खोलीं। उसके मुताबिक सिरसागंज के डॉक्टर ने नवजात को आगरा रेफर कर दिया। जहां उन्हें दोबारा मृत घोषित कर दिया गया। परिजन का आरोप है कि सीएचसी में प्रसव में लापरवाही नहीं बरती गई होती तो नवजात की जान बच सकती थी।
परना गांव के चंदन सिंह गुरुग्राम में नर्सरी केयरटेकर का काम करते हैं। गुरुवार की रात उसकी पत्नी मीरा देवी को प्रसव पीड़ा होने पर परिजनों ने रात 10 बजे जैतपुर सीएचसी में भर्ती कराया. जहां रात 10.30 बजे डिलीवरी हुई। नर्सिंग स्टाफ ने नवजात को मृत घोषित कर कपड़े में लपेट कर परिजनों को सौंप दिया. रात में घबराहट और बेचैनी होने पर मीरा देवी का इलाज किया गया। स्वस्थ होने के बाद उन्हें छुट्टी दे दी गई।
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